Goodbye my bhai Malaysian PM recalls how Manmohan offered scholarships for his children

मलेशिया के प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम ने शुक्रवार को भारत के पूर्व प्रधानमंत्री दिवंगत मनमोहन सिंह को श्रद्धांजलि देते हुए एक भावपूर्ण पत्र लिखा, जिसमें उन्होंने याद किया कि कैसे जेल में रहने के दौरान उनके बच्चों के लिए भारतीय नेता ने छात्रवृत्ति की पेशकश की थी.
सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को ‘भारत को विश्व की आर्थिक शक्तियों में से एक के रूप में उभरने में सहायक’ बताया. सिंह का गुरुवार की रात दिल्ली में निधन हो गया . वह 92 साल के थे.
इब्राहिम ने इसके साथ ही उन्हें ‘मेरे मित्र, मेरे भाई, मनमोहन’ बताया. हालांकि अनवर ने इस प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया था, लेकिन वे इस कदम से स्पष्ट रूप से प्रभावित हुए. मलेशियाई नेता 1999 से 2004 तक जेल में रहे. इस अवधि के दौरान सिंह राज्यसभा में विपक्ष के नेता थे.
उन्होंने लिखा कि डॉ. मनमोहन सिंह एक ईमानदार, दृढ़ और मजबूत नेता थे और वह अपने पीछे ऐसी विरासत छोड़ गए हैं, जो आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करती करेगी.
उन्होंने लिखा, ‘मेरे लिए वह सब कुछ रहेंगे और उससे भी अधिक. बहुत से लोग यह नहीं जानते और अब समय आ गया है कि मैं इसे मलेशियाई लोगों के साथ साझा करूं: मेरे कारावास के वर्षों के दौरान उन्होंने (मनमोहन) ऐसी दयालुता दिखाई जिसकी उन्हें आवश्यकता नहीं थी… उन्होंने मेरे बच्चों, विशेषकर मेरे बेटे, इहसान के लिए छात्रवृत्ति की पेशकश की.
मलेशियाई प्रधानमंत्री ने कहा कि हालांकि मैंने इस शानदार प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया था. उन्होंने लिखा, ‘उन अंधकारमय दिनों में जब मैं कारावास की भूलभुलैया में था, वह एक सच्चे मित्र की तरह मेरे साथ खड़े रहे. शांत उदारता के ऐसे कार्य उन्हें परिभाषित करते हैं और वह हमेशा मेरे दिल में अंकित रहेंगे. अलविदा, मेरे मित्र, मेरे भाई, मनमोहन.’
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