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बरेली SSP का बड़ा एक्शन, 57 दारोगा के खिलाफ बैठा दी जांच; किस काम से नाराज हो गए अनुराग आर्य?

उत्तर प्रदेश के बरेली जिले के एसएसपी अनुराग आर्य ने जनवरी 2025 में गिरफ्तारी और वसूली वारंट को लेकर लापरवाही बरतने वाले पुलिस अधिकारियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए हैं. उन्होंने 57 दरोगाओं के खिलाफ प्रारंभिक जांच के आदेश दिए हैं. जिससे पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया है. साथ ही एसएसपी ने वर्क लोड के दौरान सही काम करने वाले चार उपनिरीक्षकों को पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र से सम्मानित भी किया है.

दरअसल, एसएसपी ने 1 जनवरी से 31 जनवरी तक जिले के सभी थानों में न्यायालयों से प्राप्त गिरफ्तारी और वसूली वारंट की समीक्षा की. समीक्षा के बाद जिन्होंने अच्छे परिणाम आए हैं उन्हें पुरस्कृत किया गया. इस दौरान दरोगा सनी कुमार चौकी प्रभारी बहेड़ी, दरोगा विजय तेवतिया थाना देवरनियां, दरोगा मोहम्मद सरताज थाना प्रेमनगर और दरोगा रविराज थाना किला को उनके उत्कृष्ट कार्य के लिए पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र से सम्मानित किया है. अच्छे काम करने वाले अधिकारियों को सम्मानित किया गया.

वहीं लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की गई. एसएसपी ने गिरफ्तारियों और वसूली वारंट को लेकर लापरवाही बरतने वाले 57 उपनिरीक्षकों की प्रारंभिक जांच के आदेश दिए. इसके साथ ही 187 उपनिरीक्षकों को चेतावनी दी गई है. वसूली वारंट की तामीला में लापरवाही के कारण 12 उपनिरीक्षकों की प्रारंभिक जांच शुरू की गई है और 78 उपनिरीक्षकों को सचेत करते हुए उन्हें चेतावनी दी गई है.

SSP के एक्शन से मचा हड़कंप

एसएसपी के इस एक्शन से पुलिस विभाग में हड़कंप मचा हुआ है. जिन 57 दरोगाओं के खिलाफ जांच शुरू की गई है. उनमें बरेली के विभिन्न थानों से जुड़े दरोगा शामिल हैं. इनमें दरोगा कमलवीर, बृजेश सिंह, देव दत्त गौड़, और कई अन्य नाम शामिल हैं जो गिरफ्तारी वारंट की तामीला में लापरवाही के कारण जांच के दायरे में आए हैं. वहीं, वसूली वारंट में लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों में प्रमोद कुमार, संजय सिंह, विपिन तोमर जैसे दरोगा शामिल हैं.

‘लापरवाही बर्दाश्त नहीं’

एसएसपी अनुराग आर्य का यह कदम पुलिस महकमे में अनुशासन बनाए रखने और कानून के प्रति जिम्मेदारी सुनिश्चित करने के लिए अहम है. उनके इस फैसले ने सभी दरोगाओं को अपनी कार्यशैली पर पुनरविचार करने के लिए प्रेरित किया है. एसएसपी की पहल ने यह स्पष्ट कर दिया है कि किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. पुलिसकर्मियों को अपने कर्तव्यों का निर्वाह पूरी ईमानदारी से करना होगा.

SSP के एक्शन से सुधार की उम्मीद

वहीं इस तरह के निर्णयों से न केवल पुलिस अधिकारियों की जवाबदेही बढ़ती है, बल्कि नागरिकों के प्रति उनकी सेवा और कार्यप्रणाली में भी सुधार की उम्मीद जताई जा रही है. एसएसपी का यह कदम पुलिस विभाग में सुधार लाने और सरकारी तंत्र में पारदर्शिता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण साबित हो सकता है.



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